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Sunday, November 3, 2019

तुम और मैं

कसम खुदा की कि हम  टूट कर चाहेंगे तुम्हें 
बस शर्त इतनी है कि हमें टूटने मत देना!


सुनो, जब भी तुम्हें होने लगे शक हमारी मुहब्बत पर 
बस तुम हमारे नाम की मेहंदी रचा कर आज़मा लेना!


सुनो, बड़ी अजीब मुहब्बत करते हो तुम 
यूँ तो हमें साँसों में बसा कर रखा हुआ है 
मगर सरे आम गले लगाने से डरते हो तुम 
हर दफा तुम वही मगर लहज़ा नया ले आते हो 
क्युँ ये सितम भला करते हो तुम 
मैंने तो तुमसे सुकूं के चार पल ही मांगे हैं 
सुना है बाकी वक़्त किसी और की गुफ्तगू करते हो तुम 
तुम्हारी कमीज पे ये किसी के बाल कैसे?
बताओ तो सही  किससे मिला करते हो तुम?
हमने तो तुम्हारे लिए साँसे भी बिछा दी 
क्या ऐसे ही मुझ पर मरते हो तुम?
तुम्हारे लब कुछ और आँखें कुछ और कहती हैं 
सच बताओ क्या मुझसे मुहब्बत करते हो तुम ?



सुनो, अकेले रहना अच्छा लगता है क्या?
मुझसे कोई रिश्ता पुराना लगता है क्या?
बेशक तुम रहो खुद के करीब सन्नाटों के मानिंद 
सच कहो दिल जलाना अच्छा लगता है क्या?
मैंने तो तुम्हें मांग लिया खुदा से हर दुआ में लेकिन 
दुआ क़ुबूल नहीं करवाना अच्छा लगता है क्या?
मेरे ख्वाबों को कभी ताबीर तो दिया करो 
मेरी आँखों को कभी अपनी तस्वीर तो दिया करो 
मुझसे दूर जाना अच्छा लगता है क्या?
तेरे काँधे का तिल अब भी मेरी नज़रें टटोलती हैं 
तू चुप रहे तो क्या, अब तेरी आँखें बोलती हैं 
तुम्हें ये सब बहाना लगता है क्या?

- कमल पनेरू 


1 comment:

  1. tum kya toot kar chahoge kisi ko,, jo 6 baras ke rishte ko 15 din me daga de jaye ,, usse bada bewafa kon ?!!!

    bewafa no. 1

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